बलरामपुर । सिंचाई व्यवस्था पूरी तरह से चरमराई हुई है। सरयू नहर खंड प्रथम के अधिशासी अभियंता का पद पिछले 13 महीनों से खाली पड़ा है। ऐसे में नहरों की देखरेख और संचालन में भारी लापरवाही हो रही है। किसानों को नहरों से पानी न मिलने की वजह से काफी नुकसान झेलना पड़ रहा है। प्रशासन के दावों के बावजूद स्थिति जस की तस बनी हुई है।सरयू नहर खंड प्रथम के तहत बलरामपुर, बहराइच और श्रावस्ती की कुल 66 नहरें आती हैं। इनमें बलरामपुर की 35, बहराइच की 7 और श्रावस्ती की 24 नहरें शामिल हैं। इन नहरों की देखरेख और संचालन की जिम्मेदारी फिलहाल सरयू नहर खंड चतुर्थ के अधिशासी अभियंता मोहम्मद परवेज के पास है। उनके पास पहले से ही बस्ती शाखा की 190 किलोमीटर लंबी नहर का प्रभार है। ऐसे में दो बड़े डिवीजन की जिम्मेदारी संभालना उनके लिए मुश्किल हो रहा है।
66 नहरों का जिम्मा उधारी के अभियंता के पास
सरयू नहर खंड प्रथम के अधिशासी अभियंता राजकुमार वर्मा का तबादला 29 फरवरी 2024 को हो गया था। इसके बाद से इस पद पर किसी की नियुक्ति नहीं हुई है। 13 महीने बीत जाने के बावजूद शासन ने नए अधिशासी अभियंता की तैनाती नहीं की है। इससे विभागीय कर्मचारियों की मनमानी बढ़ गई है और नहरों की हालत बदतर हो गई है।
नहरों की हालत खराब, किसान परेशान
गर्मी के मौसम में नहरों में पानी नहीं रहता, जिससे किसानों की फसलें सूख जाती हैं। वहीं बारिश के समय नहरें कट जाती हैं, जिससे फसल बर्बाद हो जाती है। किसानों का कहना है कि कई बार इस समस्या को लेकर सिंचाई विभाग से शिकायत की गई, लेकिन कोई समाधान नहीं निकला। अधिकारी समस्या को नजरअंदाज कर रहे हैं।
अधिकारी दे रहे हैं सिर्फ दावे
अधिकारियों का कहना है कि सिंचाई व्यवस्था को लेकर सभी अभियंताओं को निर्देश दिए गए हैं ताकि किसानों को परेशानी न हो। अपर जिलाधिकारी प्रदीप कुमार का कहना है कि जल्द ही नए अधिशासी अभियंता की तैनाती की जाएगी। लेकिन किसान इस तरह के आश्वासनों से संतुष्ट नहीं हैं और जल्द समाधान की मांग कर रहे हैं।